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Showing posts from April, 2021

हरो दुःख कृष्ण मुरारी

तुम्हारे आराधना में मन हाथों में पूजा की थाली रखें विश्वास हैं तुमपर हरो दुःख कृष्ण मुरारी विचलित चिंतित हैं हम सब विपत्ति है घर कर बैठी "ॐ शांति" बहुत हुआ यह शब्द ख़त्म करो ये परेशानी ख़ुशी से झोली फिर भर दो दुःखों का अंत तुम कर दो मचा हाहाकार राष्ट्र में जो हे कृष्ण, इससे मुक्ति दो 

उठ जा

उठ जा ये घडी परीक्षा की कुछ कर की राष्ट्र पुकारे अब लौ जला ह्रदय में अपनेपन का जो कर सके कर के दिखा बस मानवता की सोच रहे सेवा में न संकोच रहे कठिनाइयों से न डर रहे जो करना है बस वहीँ करें सेवा हीं अब बस ध्येय रखें मन में न तनिक संदेह रखें उठ जा की कदम बढ़ाना है न थकना न रुक जाना है

एकांत में जलती चिताएं

एकांत में जलती चिताएं न पास कोई जाने पाए कैसा ये अंतिम दर्शन क्या यहीं रहेगा स्मरण कुछ प्रतीक्षा की कतार में परिजनों बिन जाने को विवश ये कैसी अंतिम यात्रा ये हो क्या रहा संसार में समझें गंभीरता बात की बात समझें साथ की सुरक्षित रहें सुरक्षित रखें गाँठ लें बस बात ये 

रौशनी-अँधेरा

उस राह पर अब भी दिखती है रौशनी कुछ पल अँधेरा था उसका भी बसेरा था दोनों साथ ही हैं रहते हर वक़्त हमसे कहते जीवन में हम दोनों का संतुलन आवश्यक सा रौशनी की कीमत तो अंधकार हीं समझाती न होता अंधकार तो रौशनी क्या कह पाती अंधकार की शीतलता रौशनी की मार्मिकता से अंधकार की प्रासंगिकता  रौशनी की विशेषता से

घर

रखे गए कुछ रिश्ते चुन कर पिरोए गए जब साथ, बना घर न केवल मकान रहने को अपनेपन का होता सागर घर प्रेम, अपनत्व, आत्मीयता संजोए बसाया जो जाए, घर वो होए बनते हैं मकान ईंट से घर बनता आपस में प्रीत से भावनात्मक लगाव रहे सदा घर लगे सदैव अपनें सा साथ का उदाहरण अनुपम घर न होता स्वर्ग से कम    

तेरी याद हमेशा आएगी

यूँ जाना तेरा गवारा नहीं कोई और मेरा सहारा नहीं तू सपना था तू अपना था तू हिम्मत था तू जन्नत था तेरी याद हमेशा आएगी ये दर्द तबाह कर जाएगी कब तक होंगें यूँ शहीद जवान कब रुकेगा ये इनका बिछड़ना मृत्यु एक नहीं होती उजड़ जाते परिवार कई अब इन चीज़ों का अंत करो विलंब नहीं अब तुरंत करो

मेरे खत

अंतिम तुम ये काम करो आखिरी मेरे खत से इंकलाब हो भावनाएं मुझमें भी थीं जीने की इच्छा प्रबल पाबंदी-कैद में जीना मगर मुझे नहीं गवारा अब हसरतें बहुत थीं मन में ज़िंदा रहता तो करता पूरी सौंपे जा रहा देश को आज़ादी की स्वप्न अधूरी खत ये एक संदेश मेरा आबाद रहे ये देश मेरा