वक़्त

नज़रों से ओझल होता नहीं

ये वक़्त हर पल रहता साथ

कराता हर क्षण आभास

दिलाता अटूट विश्वास


बढ़ते रहने सदा जीवन में

आनंद में या संताप में

हालातों का सामना करते

पड़ाव आएगा चलते चलते


सुइयों की भाँति चलते रहें

वक़्त समान बढ़ते रहें

न थकें न रुकें

प्रयत्न निरंतर करते हुए

Comments

Popular posts from this blog

अब जाता हूं .....

चक्रव्यूह

वो क्षण